श्रीनगर, भारतीय सेना से बार-बार मुंह की खाने के बाद भी पाकिस्तान अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहा है। पाकिस्तानी सेना ने पीओके में बड़ी साजिश रची है। उसने गत बुधवार को उड़ी सेक्टर में नियंत्रण रेखा से सटी भारतीय चौकियों को निशाना बनाते हुए भारी गोलाबारी की। इस गोलाबारी में 18 मराठा लाई का जेसीओ बृजेश कराटे शहीद हो गया।जबकि भारतीय नागरिक नसीमा बेगम की मौत हो गई है। नसीमा चुरुंदा गांव की रहने वाली बताई जाती हैं। वहीं भारतीय जवानों ने भी अपने जवान की शहादत का बदला लेते हुए पीआेके के देवा इलाके में पाकिस्तानी चौकी को निशाना बनाकर गोले दागे जिसमें दो पाक सैनिकों को मार गिराया गया।
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वहीं भारतीय जवानों ने भी अपने साथी की शहादत का बदला देते हुए पाकिस्तानी चौकियों पर जमकर गोले बरासाए। जवाबी कार्रवाई में भारतीय जवानों ने पीआेके के देवा इलाके में पाकिस्तानी की एक अग्रिम निगरानी चौकी की तबाह कर दिया। इसमें मौजूद दो पाक सैनिक मारे गए जबकि दो से तीन घायल भी बताए जा रहे हैं। सेना के सूत्रों ने बताया कि पाकिस्तानी सेना बंदूकों और मोर्टार से भारतीय नागरिकों को निशाना बना रही है। सूत्रों की मानें तो पाकिस्तानी फौज ने पीओके गांवों में चुपके से अपने जवानों की तैनाती बढ़ाई है। उसने पुंछ जिले के शाहपुर और किरनी सेक्टर में भी गोलीबारी की।
उत्तरी कश्मीर में एलओसी पर बीते 48 घंटों से व्याप्त खामोशी बुधवार को पाकिस्तानी सेना द्वारा उड़ी सेक्टर में जंगबंदी के उल्लंघन के साथ भंग हो गई। पाकिस्तानी सेना द्वारा भारत के अग्रिम सैन्य व नागरिक ठिकानों पर की जा रही गोलाबारी का जवाब देते हुए एक जवान शहीद हो गया। जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तानी सेना की एक निगरानी चौकी के पूरी तरह तबाह होने व उसमें मौजूद पांच से छह सैनिकों के जख्मी होने व एक जवान के मारे जाने की सूचना है। अलबत्ता, पाकिस्तानी सेना को पहुंचे नुकसान की अधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं हुई है।
उड़ी स्थित सैन्य सूत्रों ने बताया कि
उड़ी स्थित सैन्य सूत्रों ने बताया कि पाकिस्तानी सेना ने आज सुबह 11.30 बजे एलओसी के साथ सटे सिलीकोट इलाके में भारतीय सैन्य व नागरिक ठिकानों को निशाना बनाते हुए गाेलाबारी शुरु कर दी। शुरु में तो भारतीय जवानों ने पूरा संयम बनाए रखा और इसे महज उकसावे और घुसपैठियों के लिए कवर फायर मानते हुए अग्रिम नाका पार्टियों को सचेत रहने को कहा। कुछ ही देर में पाकिस्तानी सेना द्वारा दागे जाने वाले मोर्टार व तोप के गोले सिलीकोट के साथ सटे हथलंगा,नांबला व उसके साथ सटे गांवों व अग्रिम चौकियों पर भी गिरने लगे। इस पर भारतीय जवानों ने भी जवाबी कार्रवाई शुरु कर दी और दोनों तरफ से भीषण गोलाबारी शुरु हो गई।