उत्तराखण्ड में यात्रा करना हुआ महंगा

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देहरादून। संवाददाता। उत्तराखंड में अब दोपहिया से लेकर निजी व व्यावसायिक मोटर वाहनों को चलाना और उनमें सफर करना महंगा हो गया है। मंत्रिमंडल ने तकरीबन सभी प्रकार के मोटर वाहनों पर मोटर वाहन कर में इजाफा किए जाने पर मुहर लगा दी है। खासतौर पर 10 लाख से ज्यादा कीमत वाले वाहनों पर कर की दर वाहन मूल्य का दस फीसद तय की गई है।

वायु प्रदूषण को नियंत्रित व कम करने के लिए विद्युत बैटरी, सोलर पावर अथवा सीएनजी संचालित वाहनों की खरीद को प्रोत्साहित किया गया है। इन वाहनों पर कर काफी कम या शून्य भी रखा गया है। पर्वतीय मार्गों पर संचालित मंजिली गाडिय़ों पर कर की दरें मैदानी भागों की तुलना में आधी रखते हुए प्रति सीट प्रति माह कर की दर 50 रुपये रखी गई है।

त्रिवेंद्र सिंह रावत मंत्रिमंडल की शुक्रवार को सचिवालय में आयोजित बैठक में उत्तराखंड मोटरयान कराधान सुधार अधिनियम में संशोधनों को मंजूरी दी गई। निजी मोटर वाहनों पर एक बार देय कर का निर्धारण वाहन मूल्य के आधार पर तय होगा।

अब दोपहिया वाहनों की तीन श्रेणी 50 हजार कीमत पर वाहन कर सात फीसद, 50 हजार से एक लाख कीमत तक वाहन की कीमत का आठ फीसद, एक लाख से ज्यादा कीमत पर नौ फीसद कर दर तय की हैं। इसीप्रकार मोटर वाहन पर पांच लाख मूल्य तक आठ फीसद, पांच से आठ लाख मूल्य तक नौ फीसद और 10 लाख से अधिक वाहन पर दस फीसद तक कर लिया जाएगा।

सात से बारह सीटर कैब को राहत

छह सीट तक मोटर टैक्सी एवं सात से बारह सीट तक मैक्सी कैब के लिए क्रमशः क्रमश. 430 रुपये व 519 रुपये प्रति सीट प्रति तिमाही निर्धारित हैं। सरलीकरण के उदेश्य से उक्त दोनों प्रकार के वाहनों के लिए एक समान 500 रुपये प्रति सीट प्रति त्रैमास कर की नई दर निर्धारित की गई है। माल वाहन के लिए कर प्रति टन 230 रुपये के स्थान पर 270 रुपये प्रति सीट प्रति त्रैमास निर्धारित किया गया है। माल वाहन में ट्रेवलर के लिए कर की दर पहली बार 270 रुपये प्रति मीट्रिक रुपये तय की गई है।

तिपहिया वाहनों के लिए कर बढ़ाया

तीन पहिया मोटर वाहन में प्रत्येक सीट के लिए 730 रुपये के स्थान पर 800 रुपये सालाना, तीन से छह व्यक्तियों के बैठने की क्षमता वाले मोटर वाहन के लिए कर की दर प्रति सीट 845 रुपये से बढ़ाकर एक हजार रुपये सालाना तय की गई है। दोनों मामलों में एकमुश्त कर देयता सात हजार रुपये होगी। वायु प्रदूषण को कम करने के लिए विद्युत बैटरी या सोलर पावर या सीएनजी चालित वाहनों को देय कर में 20 फीसद की छूट दी जाएगी।

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