मंगलवार को 48वें विश्व आर्थिक मंच के अधिवेशन को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी संबोधित करेंगे। उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए मोदी भारत की ताकत का एहसास कराएंगे। वे भारत को एक नए, युवा और उन्नत होकर उभर रहे एक देश के रूप में प्रस्तुत कर सकते हैं।
भारत को खुली अर्थव्यवस्था वाले देश के रूप में पेश करते हुए उनकी कोशिश दुनिया के आर्थिक जगत के इस महाकुंभ में ‘मेक इन इंडिया’ के तहत वैश्विक कंपनियों को देश में निवेश के लिए प्रोत्साहित करने की होगी। भारत की वैश्विक अर्थव्यवस्था के विकास में अहम भागीदार, भारत में कारोबार को आसान बनाने, भ्रष्टाचार और काला धन घटाने, टैक्स प्रणाली सरल बनाने और देश के निरंतर विकास के लिए उठाए गए जरूरी कदमों पर भी प्रधानमंत्री चर्चा कर सकते हैं।
द्विपक्षीय मुलाकातें फलदायक होंगीः प्रधानमंत्री मोदी
दावोस रवाना होने से पहले प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर कहा कि डब्ल्यूईएफ कार्यक्रम के अलावा स्विटजरलैंड के राष्ट्रपति अलेन बेरसेट और प्रधानमंत्री स्टेफन लोफवेन से द्विपक्षीय बातचीत की उम्मीद है। मुझे यकीन है कि द्विपक्षीय मुलाकातें फलदायक होंगी। इन देशों के साथ हमारे संबंध और आर्थिक सहयोग मजबूत होगा।’
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘समकालीन अंतरराष्ट्रीय प्रणाली और वैश्विक सरकारी ढांचे के सामने मौजूदा और उभर रही चुनौतियों पर नेताओं, सरकारों, नीति निर्माताओं, कॉरपोरेट और सामाजिक संगठनों द्वारा गंभीरता से ध्यान देने की जरूरत है।’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सोमवार को स्विट्जरलैंड के शहर दावोस के लिए रवाना हुए। उनके साथ एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल भी दावोस गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार दोपहर करीब 2.45 बजे (भारतीय समयानुसार) फोरम को संबोधित करेंगे। वहीं कार्यक्रम का समापन आखिरी दिन अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भाषण के साथ होगा।