BJP Overhaul : शनिवार को भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की नई टीम की घोषणा कर दी गई। इसमें 13 राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, आठ राष्ट्रीय महामंत्री, एक राष्ट्रीय महामंत्री (संगठन), एक राष्ट्रीय सह-संगठन महामंत्री, एक कोषाध्यक्ष, एक सह-कोषाध्यक्ष और 13 राष्ट्रीय सचिव के नामों का एलान किया गया है। राज्यों के लिहाज से देखें तो, सबसे ज्यादा आठ चेहरे उत्तर प्रदेश से शामिल किए गए हैं। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की नई टीम तय हो गई है। शनिवार को इसका एलान हुआ। भाजपा ने अपने केंद्रीय पदाधिकारियों की इस सूची में आगामी चुनावों के मद्देनजर कई समीकरणों का ध्यान रखा है। नड्डा की नई टीम में 38 नामों को शामिल किया गया है।
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आइये जानते हैं नई टीम में किन चेहरों को शामिल किया गया है?
बैठक के बाद शनिवार को भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की नई टीम की घोषणा कर दी गई। इसमें 13 राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, आठ राष्ट्रीय महामंत्री, एक राष्ट्रीय महामंत्री (संगठन), एक राष्ट्रीय सह-संगठन महामंत्री, एक कोषाध्यक्ष, एक सह-कोषाध्यक्ष और 13 राष्ट्रीय सचिव के नामों का एलान किया गया है।
इसमें किन-किन चेहरों को शामिल किया गया है?
भाजपा की ओर से जारी सूची (BJP Overhaul) में राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया, छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुबर दास और मध्य प्रदेश से आने वाले सौदान सिंह को पार्टी का राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नियुक्त किया गया है। इसके अलावा कैलाश विजयवर्गीय, अरुण सिंह और तरुण चुग को महामंत्री बनाया गया है। इसके साथ ही बीएल संतोष को राष्ट्रीय महामंत्री (संगठन), शिवप्रकाश (लखनऊ) को राष्ट्रीय सह-संगठन महामंत्री, राजेश अग्रवाल (उत्तर प्रदेश) को कोषाध्यक्ष और नरेश बंसल (उत्तराखंड) को सह-कोषाध्यक्ष नियुक्त किया गया है।
मध्य प्रदेश: कैलाश विजयवर्गीय, सौदान सिंह और ओमप्रकाश धुर्वे को मौका मिला
भाजपा की नई टीम (BJP Overhaul) में चुनावी राज्यों से आने वाले नेताओं को अहमियत मिली है। मध्य प्रदेश की बात करें तो यहां से कैलाश विजयवर्गीय, सौदान सिंह और ओमप्रकाश धुर्वे को मौका मिला है। पार्टी ने इंदौर से आने वाले वरिष्ठ नेता कैलाश विजयवर्गीय को तीसरी बार महामंत्री बनाया है। विजयवर्गीय 2014 में भाजपा के हरियाणा राज्य विधानसभा चुनाव अभियान के प्रभारी थे, जब पार्टी ने हरियाणा विधानसभा चुनाव में अपनी पहली जीत दर्ज की थी। विजयवर्गीय को 2015 में भाजपा का राष्ट्रीय महासचिव और साथ ही पश्चिम बंगाल का प्रभारी बनाया गया था। उन्हें पश्चिम बंगाल में भाजपा के लिए गेम चेंजर चेहरा माना जाता था क्योंकि पार्टी ने 2019 लोकसभा चुनाव में 42 में से 18 सीटें जीती थी। विजयवर्गीय को चुनावी मैनेजमेंट का माहिर माना जाता है। मध्य प्रदेश के मालवा-निमाड़ में उनकी गहरी पकड़ है।
विदिशा के रहने वाले भाजपा के वरिष्ठ नेता सौदान सिंह को भी फिर से राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया है। सौदान सिंह पहले भोपाल संभाग के संगठन महामंत्री रह चुके हैं। उनको राष्ट्रीय सह संगठन महामंत्री बनाकर छत्तीसगढ़ का प्रभार दिया गया था। उनके पास लंबे समय तक छत्तीसगढ़ की जिम्मेदारी रही। पिछली बार राष्ट्रीय टीम में उनको उपाध्यक्ष बनााय गया था। उनको उसी पद पर कायम रखा गया है। कहा जाता है कि वह नड्डा के भरोसेमंद नेताओं में हैं। आरएसएस से जुड़े होने के कारण उनका देश के कई राज्यों में संगठन के कार्यों का अनुभव है।
मध्य प्रदेश के एक और से नेता और डिंडौरी जिले (BJP Overhaul) से पूर्व विधायक ओमप्रकाश धुर्वे भी राष्ट्रीय सचिव पद पर बरकरार हैं। धुर्वे अनुसूचित जनजाति वर्ग से आते हैं। भाजपा का मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में इस वर्ग पर ज्यादा फोकस है। धुर्वे ने उमा भारती, बाबूलाल गौर और शिवराज सिंह चौहान की सरकारों में कई मंत्रालयों में काम किया है। 2016 में उन्हें खाद्य, नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण, श्रम मंत्री के रूप में शिवराज सिंह चौहान के कैबिनेट मंत्रालय में शामिल किया गया था। हालांकि, 2018 में वह अपना चुनाव हार गए थे।
राजस्थान: पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, सुनील बंसल और डॉ. अल्का गुर्जर को शामिल
राजस्थान से पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, सुनील बंसल और डॉ. अल्का गुर्जर को शामिल किया गया है। पूर्व सीएम वसुंधरा राजे पहले से ही पार्टी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष थीं, उनके पद को बरकरार रखा गया है। जबकि अल्का गुर्जर को राष्ट्रीय सचिव और सुनील बंसल को राष्ट्रीय महामंत्री बनाया गया है। कहा जा रहा है कि डॉक्टर अल्का को केंद्रीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी में जगह देकर भाजपा ने राजस्थान के गुर्जर समाज को साधने का काम किया है। क्योंकि, इसी साल राजस्थान में चुनाव होने और प्रदेश में गुर्जर समाज का बड़ा वोट बैंक हैं। वहीं, सुनील बंसल पहले की तरह नड्डा की टीम में बरकरार हैं।
छत्तीसगढ़: पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, सरोज पांडे और लता उसेंडी को दिया मौका
भाजपा ने जिन 13 नेताओं (BJP Overhaul) को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया है उसमें से अकेले तीन चुनावी राज्य छत्तीसगढ़ से हैं। राज्य से पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, सरोज पांडे और लता उसेंडी को मौका दिया है। 2018 विधानसभा चुनाव में रमन सिंह सरकार सत्ता से बेदखल होने के बाद उन्हें राष्ट्रीय उपाध्यक्ष का पद दिया गया था। राज्यसभा सांसद सरोज पांडेय को भी पदोन्नति मिली है। उन्हें राष्ट्रीय महासचिव के पद से हटाकर राष्ट्रीय उपाध्यक्ष का पद दिया गया है। इसके अलावा छत्तीसगढ़ से पूर्व मंत्री लता उसेंडी को भी राष्ट्रीय उपाध्यक्षों की लिस्ट में जगह मिली है। लता को पहली बार भाजपा कार्यकारिणी में जगह दी गई है।
तेलंगाना: डीके अरुणा राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाई गईं
दक्षिण के चुनावी राज्य तेलंगाना से आने वालीं डीके अरुणा राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाई गईं हैं। सांसद संजय बंदी को राष्ट्रीय महासचिव की जिम्मेदारी दी गई है। संजय राज्य इकाई के अध्यक्ष रह चुके हैं। पूर्वोत्तर के राज्य मिजोरम में भी साल के अंत में चुनाव हैं। यहां से किसी नेता को नड्डा की टीम में जगह नहीं मिली है।
उत्तर प्रदेश से किन्हें जगह मिली है?
उत्तर प्रदेश में 80 लोकसभा सीटें आती हैं। यहां से तीन उपाध्यक्ष, दो महामंत्री और एक नेता को राष्ट्रीय सचिव बनाया गया है। वहीं, पार्टी के कोषाध्यक्ष राजेश अग्रवाल भी उत्तर प्रदेश से ही आते हैं। सांसद रेखा वर्मा, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मीकांत बाजपेयी और विधान परिषद सदस्य व अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के पूर्व कुलपति तारिक मंसूर को पार्टी राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया है। इस फैसले को पसमांदा मुसलमानों के प्रति पार्टी के जुड़ाव के प्रयास का हिस्सा माना जा रहा है। सांसद अरुण सिंह पहले की तरह राष्ट्रीय महासचिव बने रहेंगे। अरुण सिंह के साथ ही यूपी से आने वाले राधामोहन अग्रवाल को भी राष्ट्रीय महासचिव बनाया गया है। सांसद राधामोहन अग्रवाल गोरखपुर से विधायक रह चुके हैं। जहां से अब योगी आदित्यनाथ पार्टी के विधायक हैं।
बिहार से सिर्फ एक चेहरे को नई कार्यकारणी में जगह मिली
यह तीनों राज्य लोकसभा सीटों के लिहाज से यूपी के बाद सबसे बड़े राज्यों में शामिल हैं। तीनों राज्यों में 40 या उससे अधिक सीटें हैं। 40 लोकसभा सीट वाले बिहार से सिर्फ एक चेहरे को नई कार्यकारणी में जगह मिल सकी है। ऋतुराज सिन्हा को पार्टी का राष्ट्रीय सचिव बनाया गया है। पूर्व केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह की नड्डा ने अपनी टीम से छुट्टी कर दी है। बंगाल से आने वाले अनुपम हाजरा को भी राष्ट्रीय सचिव बनाया गया है। बंगाल में कुल 42 लोकसभा सीटें हैं। 48 लोकसभा सीटों वाले महाराष्ट्र से वीनोद तावड़े राष्ट्रीय महासचिव बनाए गए हैं। वहीं, पूर्व केंद्रीय मंत्री गोपीनाथ मुंडे की बेटी और विधायक पंकजा मुंडे पार्टी की राष्ट्रीय सचिव होंगी। कहा जा रहा था कि पंकजा पिछले कुछ समय से पार्टी से नाराज चल रही थीं। हाल ही में उन्होंने दो महीने तक राजनीति से दूर रहने का फैसला किया था जिसे पार्टी नेताओं ने वापस लेने को भी कहा था। राष्ट्रीय सचिव बनाई गईं विजया राहटकर भी महाराष्ट्र से आती हैं।
पार्टी की नई टीम में दो मुस्लिम चेहरों को जगह दी (BJP Overhaul)
पार्टी की नई टीम में दो मुस्लिम चेहरों को जगह दी गई है। इसमें एक नाम एमएलसी तारिक मंसूर का है। अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के कुलपति रहे प्रो. तारिक मंसूर ने इसी साल अप्रैल में अपने पद से इस्तीफा दिया था। उन्होंने यह इस्तीफा एमएलसी बनने के बाद दिया था। मंसूर के बारे में कयास लगाए जा रहे थे कि उन्हें किसी आयोग का चैयरमेन या उत्तर प्रदेश सरकार में कोई मंत्री पद मिल सकता है। हालांकि, मंसूर आज राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाए गए हैं। दूसरे चेहरा केरल से आने वाले अब्दुल्ला कुट्टी का है। कुट्टी पहले भी नड्डा की टीम का हिस्सा थे। उन्हें राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के रूप में बरकरार रखा गया है।
युवा नेता अनिल एंटनी को राष्ट्रीय सचिव की जिम्मेदारी सौंपी
केरल से आने वाले युवा नेता अनिल एंटनी को राष्ट्रीय सचिव की जिम्मेदारी सौंपी गई है। भाजपा के स्थापना दिवस के अवसर पर पूर्व रक्षा मंत्री और कांग्रेस के दिग्गज नेता एके एंटनी के बेटे अनिल एंटनी भाजपा में शामिल हो गए थे। पाला बदलने से पहले अनिल केपीसीसी डिजिटल मीडिया संयोजक और एआईसीसी सोशल मीडिया समन्वयक थे। कहा गया कि प्रधानमंत्री मोदी पर बीबीसी की विवादित डॉक्युमेंट्री को लेकर उनकी कांग्रेस से अनबन हो गई थी।