नई दिल्ली: जाने-माने अर्थशास्त्री और टेक्नॉलजी क्रिटिक का मानना है कि एक दिन दुनिया के सबसे बड़े सर्च इंजन के तौर पर गूगल अपनी पकड़ खो देगा।
अपनी किताब ‘लाइफ आफ्टर गूगल: द फॉल ऑफ बिग डेटा ऐंड द राइज़ ऑफ ब्लॉकचेन इकॉनमी’ में जॉर्ज गिल्डर ने दावा किया है कि इंटरनेट यूजर्स अपने डेटा के मालिकाना हक के लिए आवाज उठाएंगे।उनके मुताबिक, आने वाले समय में यूजर्स की रुचि ब्लॉकचेन जैसी टेक्नॉलजीज़ में बढ़ेगा। उनका मानना है कि यूजर्स अपने डेटा की प्रिवेसी पर ज्यादा कंट्रोल मांगेंगे और ‘नए इंटरनेट’ के चलते आज के बड़े सर्च दिग्गजों जैसे Google को झटका लगेगा।
डेलीमेल की एक रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने दावा किया कि गूगल के पास यूजर डेटा के खजाने को झटका लग सकता है। यूजर्स आने वाले समय में अपने डेटा और जानकारी को अपने पास रखने का अधिकार मांग सकते हैं।
उनका मानना है कि ऐसा होने से इंटरनेट पर व्यवसाय को बहुत ज्यादा बढ़ावा मिलेगा, लेकिन यह वर्ल्ड वाइड वेब के शुरुआती दिनों की तरह नहीं होगा। उदाहरण के लिए, न्यूज़ पब्लिकेशन्स अपने कॉन्टेन्ट को यूजर्स को ‘माइक्रोपेमेंट्स’ में बेच सकते हैं। गिल्डर ने इस बात को स्पष्ट करते हुए बताया कि उनका मानना है कि ऐसा होने से विज्ञापनों पर निर्भरता खत्म हो जाएगी।